Snehdeep Osho Vision

Science is crumbling from place to place, its house is collapsing.  And by the end of this century, the building of science will gradually be destroyed.
And will replace him with a very new life-consciousness.  And that life-consciousness cooperation, to be one with Virat!  that life
 The stream that will be Brahminical, not objective.
There will be no coordination between the two.  This section will break and fall. And Virat can rise from within. Happen
needed . Is very likely to happen.
Osho Tao Upanishad



विज्ञान जगह-जगह से टूट रहा है, उसका घर गिर रहा है। और यह सदी पूरी  होते-होते विज्ञान का भवन धीरे-धीरे विनष्ट हो जाएगा। 
 और उसकी जगह एक बहुत नई जीवन- चेतना ले लेगी। और वह जीवन-चेतना सहयोग की, विराट के साथ एक होने की! वह जीवन 
की जो धारा होगी, ब्रम्हवादी होगी, वस्तुवादी नहीं।
समन्वय नहीं होगा दोनों के बीच। यह खंड तो टूटेगा और गिरेगा। और विराट का अभ्युदय इसके भीतर से हो सकता है। होना
चाहिए । होने की पूरी संभावना है ।
ओशो ताओ उपनिषद

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